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People Were Surprised To See The Dangerous Stunts Of Mantosh Kumar During The Shooting Of Bhojpuri Film Paglu...

भोजपुरी फ़िल्म पगलू की शूटिंग में मंतोश कुमार के खतरनाक स्टंट देखकर लोग रह गए हैरान।

भोजपूरी फिल्मों में भी अब रियल एक्शन देखने को मिलता है। भोजपुरी में इस समय फ़िल्म पगलू की चर्चा इसके खतरनाक एक्शन की वजह से हो रही है और इसमें ऐसे स्टंट हैं, जिसकी शूटिंग देख कर लोगों ने इसके हीरो मंतोश कुमार को एक्शन कुमार कहना शुरु कर दिया है। झारखंड के हजारीबाग के पहाड़ और जंगलों में एक्शन भोजपुरी फ़िल्म पगलू की शूटिंग में जोखिम भरे स्टंट देखकर लोग दंग रह गए और दर्शको ने हीरो मंतोश कुमार को एक्शन कुमार का खिताब दे दिया।

आपको बता दे कि एस राणा फ़िल्म प्रोडक्शनस और माही मूवीज एंटरटेनमेंट के बैनर तले बन रही इस भोजपुरी एक्शन फ़िल्म पगलू की शूटिंग झारखंड के हजारीबाग में पूरी कर ली गई है। फिल्म के निर्माता अंजनी राणा और चंदन भंसाली हैं। फ़िल्म के एक्जीक्यूटिव प्रोड्यूसर प्रमोद राणा हैं, जबकि इस में पगलू का टाईटल रोल मनतोश कुमार कर रहे हैं, फिल्म में अभिनेत्री हैं अरुणा आरवी। इनके अलावा कलाकारों में देव सिंह, अनूप अरोड़ा, वैभव राय, अर्जुन यादव, मुश्ताक, विक्रांत, मुरली, सूर्या इत्यादि नजर आएंगे।

उललेखनीय है कि मंतोश कुमार ने खेसारी लाल यादव के साथ पहली फिल्म “जानम” की थी जिसमें वह थर्ड लीड में थे उसके बाद दूसरी फिल्म “मन्दिर वहीं बनाएंगे” में सेकंड लीड किया था और अब पगलू फिल्म में वह सोलो हीरो हैं। भोजपुरी फिल्मों में एक्शन कुमार के तौर पर अपनी पहचान बनाने वाले मंतोश कुमार रियल लाईफ में मार्शल आर्ट के इंटरनेशनल प्लेयर हैं। वह किक बॉक्सिंग और कराटे में नेशनल मेडल जीते हुए हैं। चूंकि वह उत्तर प्रदेश के देवरिया से हैं इसलिए उनके फैन्स उन्हें पूर्वांचल का लाल भी कहते हैं। देवरिया के इस भोजपुरिया टाइगर मंतोश कुमार के एक्शन करतब को देखकर लोगों में अभी से उनकी आगामी फिल्म पगलू को लेकर उत्साह पैदा हो गया है।

आपको बता दें कि जब हजारीबाग में पगलू की शूटिंग हो रही थी तब शूटिंग देखने के लिए स्थानीय लोगों की भारी भीड़ जमा हो गई थी। फ़िल्म के हीरो मंतोश को गुंडों से लड़ते देखकर दर्शकों ने मंतोश कुमार को एक्शन कुमार का दर्जा दे दिया। यह फिल्म दिपावली तक आने की सम्भावना है।

मंतोश का कहना है कि जिंदगी में कोई बड़ा कारनामा करने के लिए जोखिम उठाना पड़ता है और इस फिल्म के एक्शन के लिए हम सबने कड़ी मेहनत की है, खतरनाक स्टंट खुद किए हैं। हमारी पूरी टीम इस फिल्म को लीक से हटकर बनाने और इसे एकदम नया लुक देने की कोशिश कर रही है। जिसे दर्शक काफी पसंद करेंगे। मेरे प्रशंसकों ने जो मुझे एक्शन कुमार का नाम दिया है, मै उनके प्यार और जज्बे का सम्मान करता हूं।

आपको बता दें कि कुछ नए प्रयोग के साथ बनाई जा रही यह फ़िल्म पगलू आम भोजपुरी फिल्मो से बिलकुल अलग और एक्शन से भरपुर होगी। जिसमे हीरो मंतोश देश और समाज को बचाने के लिए दुश्मनो से लड़ते नजर आएंगे। फिल्म के निर्देशक संतोष राणा और लेखक इंद्रजीत एस कुमार है। संतोष राणा का कहना है कि इस फिल्म के जरिए एक नई थीम के साथ भोजपुरी सिनेमा को बॉलीवूड के स्तर पर ले जाने के लिए पूरी टीम काम कर रही है।

LATE SHRI PARESHBHAI CHANDARANA CHARITABLE TRUST Inaugurates Its 2nd UNIT SUPREME SOUL RAJASHRAM...

Smt. REENA MEHTA ( FOUNDER CHAIRPERSON ), JAY SUTHAR ( MANAGING TRUSTEE ), SHRI NARENDRA S. MEHTA( Legal Advisor), MR. SUNNY MEHTA (TRUSTEE), SMT NIRMALA VORA (TRUSTEE), SANJAY CHANDARANA ( Member Advisory Committee) of the TRUST inaugurated the opening of  ‘Supreme Soul Rajashram’ with the lightening of the Lamp. It is an Old Age Home with 50 beds for Destitute and abandoned Sr.Citizens.

Various activities were performed by the senior citizens like dancing, singing, etc. They also spoke about the ashram’s livelihood elaborating its cause. Everyone enjoyed the activities and actively participated in it.

Mrs. REENA MEHTA said, “that Old Age home has become an unsolicited need of today in nuclear families”. Children leave their houses in search of jobs or education and settle themselves in other cities or countries and leave their parents behind. Parents have no other alternative than to live in Old Age homes who take care of them and provide them with good basic needs such as shelter, good food, and their medical care.

She further said  “This is not an Old Age Home but a Rajashram means where Sr. citizens can live their balance life like a King and Royally. MR. JAY SUTHAR said that he has 6 years experience in this field and handles 1st unit of Rajashram “SHRI MANSUKHLAL MEWADA RAJASHRAM ” at Palkhadi, Bhayander west under the same trust.

—Wasim Siddique(Fame Media)

स्वर्गीय श्री परेशभाई चंद्रना चैरिटेबल ट्रस्ट की दूसरी यूनिट ‘सुप्रीम सोल राजाश्रम’ का भायंदर में हुआ उद्घाटन

मुम्बई के समीप उपनगर भायंदर पश्चिम स्थित डोंगरी इलाके में स्वर्गीय श्री परेश भाई चांद्रना चैरिटेबल ट्रस्ट की दूसरी यूनिट ‘सुप्रीम सोल राजाश्रम’ का उद्घाटन श्रीमती रीना मेहता (चेयरमैन, संस्थापिका), जय सुथार (मैनेजिंग ट्रस्टी), नरेंद्र मेहता (कानूनी सलाहकार), सन्नी मेहता (ट्रस्टी), श्रीमती निर्मला वोरा (ट्रस्टी), संजय चांद्रना (कमिटी सलाहकार सदस्य) की उपस्थिति में दीप प्रज्वलित कर किया गया।

इस वृद्धाश्रम में वयोवृद्ध व निराश्रितों के लिये 25 अगस्त 2019 से पचास बिस्तर की सुविधा रखी गयी है। उसी अवसर पर श्रीमती रीना मेहता ने कहा कि आज कई परिवारों में बड़े बुजुर्गों की बिगड़ती समस्या को देखते हुए ओल्ड एज होम यानी वृद्धाश्रम एक अनचाही जरूरत बन गयी है। बच्चें नौकरी या शिक्षा की तलाश में अपने घर छोड़ देते हैं और खुद को दूसरे शहरों या देशों में बसा लेते हैं तथा अपने माता-पिता को पीछे छोड़ देते हैं। ऐसे में माता-पिता के पास वृद्धाश्रम में रहने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है जो उनकी देखभाल करते हैं और उन्हें अच्छी बुनियादी ज़रूरतें जैसे आश्रय, अच्छा भोजन और उनकी चिकित्सकीय देखभाल प्रदान करते हैं।

उन्होंने आगे कहा कि यह मात्र एक वृद्धाश्रम नहीं है, बल्कि एक राजाश्रम है, जहां सीनियर सिटीजन अपना शेष जीवन राजसी ढंग से राजा की तरह गुजार सकते हैं। हम सीनियर सिटीजन की शर्त के आधार पर बहुत मामूली शुल्क लेते हैं। मैनेजिंग ट्रस्टी जय सुथार ने कहा कि इस क्षेत्र में उनके पास 6 साल का अनुभव है और इसी ट्रस्ट के तहत भायंदर पश्चिम में पालखड़ी में राजाश्रम की पहली इकाई ‘श्री मनसुखलाल मेवाड़ा राजाश्रम’ का भी संचालन किया जा रहा है।

A Platinum Jubilee of Dr. Shobha Koser

डॉ शोभा कोसर के 75 वे जन्मदिन पर शानदार कार्यक्रम का आयोजन

गुरु जीवन को नई राह दिखाता है, जिसे बयां कर पाना मुश्किल है। वहीं शिष्य की बात की जाए तो वह अपने गुरु का हमेशा आभार प्रकट करते हुएनजर आते हैं। जरिया चाहे कोई भी होगा। आज यानी 23 अगस्त को राजधानी दिल्ली   के त्रिवेणी सभागार  में ऐसा ही देखने को मिला । यहां पर“आभार” नाम से कार्यक्रम हुवा , जिसे कथक डांसर और रजिस्ट्रार प्राचीन कला केंद्र  डॉ. शोभा कौसर के 75वें जन्मदिन के मौके पर आयोजितकरवाया गया था । इस मौके पर उनके शिष्यों ने  परफॉर्मेंस के जरिए अपनी गुरु मां का आभार व्यक्त किया । इसमें कुछ सोलो परफॉर्मेंस हुयी  तोकुछ ग्रुप में। इन शिष्याओं में शुभ्रा, पूर्वा,और  समीरा कोसर , आदि शामिल हुयी । सभी ने डॉ शोभा कोसर को उनके जीवन के 75 गौरवशाली वर्ष पूरेहोने पर बधाई दी, जो उन्होंने कथक नृत्य को समर्पित की थीं  इसके अलावा संगीत नाटक अवार्डी डॉ.शोभा कोसर ने भी  धमाकेदार परफॉर्मेंस दे करउम्र को छोटा साबित कर दिया ।

इस समारोह में अनगिनत गणमान्य व्यक्तियों और विश्व प्रसिद्ध कलाकारों जैसे कि पं. विश्व मोहन भट्ट, पं देबू चौधुरी, पं भजन सोपोरी, उस्तादअकरम खान और जाने माने संगीत समीक्षकों  डॉ मंजरी सिन्हा, डॉ अश्विनी शर्मा जी और सीसीआरटी के अध्यक्ष डॉ हेमलता एस मोहन सहित कईअन्य गणमान्य व्यक्तियों, जो शाम के मुख्य अतिथि भी थे डीपीएस सोसाइटी  की निदेशक डॉ संध्या अवस्थी, डीडी किसान चैनल के निदेशक डॉनरेश सिरोही, आदि ने सिरकत की ।

समारोह के अंत में प्राचीन कला केंद्र के सचिव व डॉ.शोभा कोसर के पुत्र श्री सजल कोसर ने सभी विशिष्ट व अतिविशिष्ट व्यक्तियों और कलाकारोंको सम्मानित किया ।

Blockbuster Welcome In Mumbai Of Dr Naavnidhi K Wadhwa After She Was Crowned Mrs Universe Asia Queen 2019 – Beauty Pageant...

मुम्बई: ब्यूटी पेजेंट जीतकर मुम्बई लौटीं डॉ। नावनिधि के वाधवा का हुआ भव्य स्वागत । जी हाँ फिलीपीन में मिसेज यूनिवर्स एशिया क्वीन 2019।जीतकर मुम्बई लौटी डॉ नावनिधि के वाधवा । बताती है कि उन्होंने फिलीपींस में आयोजित एक ब्यूटी पेजेंट में भाग लिया । जहाँ 60 देशों की महिलाओं ने भाग लिया। उनमें से केवल 8 प्रतिभाशाली महिलाओं ने इसमें से फाइनल में जगह बनाई। डॉ। नावनिधि के वाधवा ने बहुचर्चित मैग्नम क्राउन जीतकर भारत को गौरवान्वित किया। सर गर्व ऊंचा कर दिया । उन्हें आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था । लेकिन आज वो न केवल एक बल्कि तीन ब्यूटी पेजेंट उनके सर पर सोभायमान हो रहा है । पहला मिसेज भारत आइकन फर्स्ट रनर अप । दूसरा मिसेस एशिया यूनिवर्स 2018 ! और मिसेस यूनिवर्स एशिया क्वीन 2019।
   

आपको बताता चलु की डॉ नवनिधि के वाधवा एक अभूतपूर्व महिला है जो समाज के लिए परोपकार के कार्यों में सक्रिय रूप से शामिल रही है ! वह पंख नामक एक एनजीओ चलाती है । जो विशेष रूप से विकलांग बच्चों के लिए काम करता है । और जैसा कि नाम से पता चलता है कि उन्हें उड़ान भरने के लिए पंख दिए गए हैं और अपने सपनों को प्राप्त करें। गौरतलब हो डॉ नावनिधि के वाधवा ने यह कहकर अपनी भावनाओं को साझा किया कि मैं बहुत खुश और गौरवान्वित महशूश कर रही हूं । यात्रा आसान नहीं था । मुझे बहुत कठिनाइयों और असफलताओं का सामना करना पड़ा ।लेकिन मैंने कभी हार नहीं मानी ! और बल्कि एक अधिक आत्मविश्वास और मजबूत महिला के रूप में सामने आई। यह श्रेय मेरे परिवार को देना चाहती हु जिन्होंने हमेशा मेरा साथ दिया ! और मुझे प्रोत्साहित किया।   साथ ही डॉ नवनिधि के वाधवा दिमाग के साथ साथ सुंदरता की मिशाल चुकी है ।वो खाने पीने के मामले में बहुत सेलेक्टिव है। उन्होंने अंकशास्त्र और वास्तु सास्त्र की कला में महारत हासिल की है।

The Kajri Festival 2019 Organised by Mumbai Vishwa Vidayala Hindi Department and Abhiyan Trust Celebrted With Great Funfare...

मुम्बई विश्वविद्यालय हिन्दी विभाग व अभियान ट्रस्ट के तत्वावधान में कजरी महोत्सव 2019, का आयोजन किया गया, इस अवसर पर अमरजीत मिश्रा स्टेट मिनिस्टर महाराष्ट्र, करुणा शंकर उपाध्याय हिन्दी विभाग अध्यक्ष मुम्बई विश्वविद्यालय, डॉ शीतल प्रसाद दुबे कार्याध्यक्ष महाराष्ट्र राज्य हिंदी साहित्य अकादमी, डॉ रामजी तिवारी प्रोफेसर एवम पूर्व अध्यक्ष हिन्दी विभाग मुम्बई विश्वविद्यालय, डॉ सूर्यबाला विरिष्ठ कवित्री, कृष्णा प्रकाश विशेष पोलिस महानिरीक्षक, अभिनेता अली खान,कॉमेडियन सुनील पाल,दिलीप सेन म्यूजिक डायरेक्टर,गीता सिंह,किरण अमरजीत सिंह,अशोक सिंह,राकेश सिंह,आनंद सिंह,सतीश सिंह,ममता गुप्ता,अनुराग शुक्ला, नरेंद्र सोनकर,महाश्रय दीक्षित,जगनारायण दीक्षित,और आयोजक शम्भू सिंह मैजूद रहे

आपको बता दु की कजरी पूर्वी उत्तर प्रदेश का प्रसिद्ध लोकगीत है। इसे सावन के महीने में गाया जाता है। यह अर्ध-शास्त्रीय गायन की विधा के रूप में भी  जाना जाता है,और इस गायन में बनारस घराने की ख़ास झलक नज़र आती है। कजरी गीतों में वर्षा ऋतु का वर्णन विरह-वर्णन तथा राधा-कृष्ण की लीलाओं का वर्णन अधिकतर मिलता है। कजरी की प्रकृति क्षुद्र है।इसमें श्रींगार रस की प्रधानता होती है। उत्तरप्रदेश एवं बनारस में कजरी गाने का प्रचार खुब है!

कजरी लोकगीत ब्रज क्षेत्र के प्रमुख लोक गीत में से एक लोक गीत है  सावन में झूला झूलते समय गाया जाता है| प्राचीन काल से ही उत्तर प्रदेश का कजरी गायन के प्रारम्भ देवी गीत से ही होता है। उनकी याद में कजरी गाया जाता है । श्रावण मास का विशेष महत्त्व है यह मुख्यतः बनारस, बलिया, चंदौली और जौनपुर जिले के क्षेत्रों में गाया जाता है

     

साथ ही आपको बताता चलु की अभियान संस्था के माध्यम से पूरे सावन महीने । मुम्बई के कोने कोने में कजरी महोत्सव का आयोजन किया जाता है ! अभियान का मकसत केवल इतना है की जो महिलाएं मुम्बई में अपने मायके से दूर रहती है ! उनको अपने मायके की याद ना आये ! इसलिये झूला,मेहंदी कजरी का ऐसा वातावरण तैयार किया जाता कि महिलाएं यहाँ आकर कुछ पल के लिए इसे मायका महसूस करती है ! और इस पर शुरेश शुक्ला और राधा मौर्या का सुमधुर आवाज लोगों झूमने पर मजबूर कर देती है ! वही इस अवसर पर अमरजीत मिश्रा, कृष्ण प्रकाश IPS और तमाम मेहमानों का क्या कहना था,आइये सुनवाता हु आपको

Adhoore Adhoore Staring Shakti Arora And Chandni Is A Visual Treat...

Adhoore Adhoore is a romantic melodious song starring Indian Television actor Shakti Arora and model Chandini in a stellar music video directed by actor turned director Aslam Khan, known for his histrionics in films like Nayee Padosan and Welcome Back among others, released today on zee music. The song was shot at Atharva College, Malad. Sung and composed by Shree D, the song is about a couple who start living together and later land in separation due to their personal egos, coming to realize that they are complete in being ‘adhoore’ (incomplete).

The music video director Aslam Khan averred, “If you have a look at the music video, you will realize it is like a film, a six minute long film. It has a beginning, a midpoint and a definite end, albeit, with an incomplete touch to it… a perfect storyboard with an incomplete end.” On working with Shakti Arora and Chandni , Aslam Khan professed that they have been brilliant. “This song needed Shakti and Chandni only. They have performed really well on this track. It has been a wonderful experience,” he added.

Shakti Arora, who has made his mark on the Indian television scene with shows like Meri Aashiqui Tumse Hai and Silsila Badalte Rishton Ka, confessed that at first he thought it was just another song! “When I went through it, repeatedly hearing it, I came to realize that the song has a soul of its own. It has a Sufi-ish, feel-good, and the perfect choice for a long drive feel to it.”  A happy and gorgeous Chandni said “After being a part of a couple of upbeat party songs, when I first heard Adhoore Adhoore it struck a chord with me. The way Aslam and the whole team has picturised it, it’s beautiful and being featured opposite an amazing actor like Shakti Arora is just perfect! I hope everyone likes this song as much as I did ”

 

ADHOORE ADHOORE is Aslam Khan’s twenty-fifth directorial venture. On being asked what he felt was different about working in front and behind camera, he expressed “Both are fantastic but there are many differences though. This I have realized because I am now working behind the camera. Just because I have been an actor myself, I know about all the nuances a director should take care of.”

“There goes a saying, ‘All’s well, that ends well’. I am glad it has actually shaped up the way I wanted it,” summed up Aslam Khan.

Now the audiences will decide check out adhoore adhoore.